हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम मोनिका है और में चंडीगढ़ की रहने वाली हूँ।
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में
शादीशुदा हूँ फिर भी दिखने में सेक्सी लगती हूँ और मेरा रंग गोरा, बाल एकदम
काले और मेरी आखें एकदम भूरी है। मुझे देखकर कोई भी मुझे शादीशुदा नहीं
कहता, क्योंकि में अपने शरीर पर बहुत ज्यादा ध्यान देती हूँ। दोस्तों मेरे
पति से मेरी शादी कुछ साल पहले ही हुई और मेरे पति एक प्राइवेट कम्पनी में
काम करते है। वो सुबह 9 बजे अपनी नौकरी पर चले जाते है और फिर शाम के 7 बजे
तक वापस आ जाते है, तो घर का सारा काम और अपने पति की देखभाल में ही करती
हूँ और में दिखने के साथ साथ एक बहुत ही सेक्सी औरत हूँ। मुझे सेक्स करना
और नाईटडिअर डॉट कॉम पर सेक्सी कहानियाँ पढ़कर अपनी प्यासी चूत में उंगली
करके झड़ना बहुत अच्छा लगता है। मैंने अब तक इस पर कुछ सालों में बहुत सारी
सेक्सी कहानियाँ पढ़ी और वो सभी मुझे बहुत अच्छी लगी। लेकिन दोस्तों मेरे
पति 6-7 दिनों में केवल एक ही बार मेरी चुदाई करते है, जिसकी वजह से मेरी
सेक्स करने की भूख कभी भी नहीं मिट पाती और में हमेशा प्यासी ही रह जाती
हूँ, क्योंकि में बहुत जमकर चुदवाना चाहती हूँ और अपनी प्यासी चूत की खुजली
मिटाना चाहती हूँ। दोस्तों में आज आप सभी को अपनी एक चुदाई की सच्ची कहानी
सुनाने जा रही हूँ, जिसमे मैंने अपनी चूत को बहुत जमकर चुदवाया। यह कहानी
अभी कुछ समय पहले की है जिसमे मैंने एक सब्जी वाले से अपनी चूत चुदवाई और
अब में सीधी अपनी आज की कहानी पर आती हूँ।
दोस्तों हमारे मोहल्ले में घूम घूमकर सब्जी और फल बेचने वाले आते रहते
है और उनमें से एक फल बेचने वाले का नाम मोहन था। वो हमेशा मुझसे बहुत ही
मुस्कुराकर बात किया करता और कभी कभी मज़ाक भी कर देता था और वो दिखने में
भी एकदम ठीक ठाक था। उसका बदन एकदम गठीला था। तो एक दिन मैंने उसे देखकर मन
ही मन में सोचा कि क्यों ना में मोहन को थोड़ा सा अपनी तरफ आकर्षित कर दूँ
तो हो सकता है कि शायद मेरी बात बन जाए और मुझे उसके लंड से चुदवाने का
मौका मिल जाए और मेरे मोहल्ले के सभी लोग मेरे पति को बहुत अच्छी तरह से
जानते पहचानते थे इसलिए मुझे इस बात का डर था कि अगर मैंने मोहल्ले में
किसी के साथ चुदवाया तो मेरे पति को पता चल जाएगा। वैसे हमारे मोहल्ले में
ज़्यादातर नौकरी करने वाले ही रहते थे और सुबह 10 बजे के बाद हमारे मोहल्ले
में एकदम सन्नाटा हो जाता था। तो एक दिन में मोहन का बहुत इंतज़ार करने
लगी और करीब 11 बजे मुझे मोहन की आवाज़ सुनाई पड़ी। केले ले लो केले।
तो वो जब मेरे घर के सामने आया तो मुझसे बोला कि क्यों मेडम केले चाहिए?
आज मेरे पास बहुत ही लंबे और मोटे केले है। तो मैंने कहा कि लेकिन तुम
पहले मुझे अपने केले तो दिखाओ और वो मेरे पास आया और उसने अपने सर से फल की
टोकरी को उतारकर ज़मीन पर रख दिया और फिर उसने मुझे एक बहुत बड़ा केला
दिखाते हुए कहा कि मेडम जी आप तो यह केला ले लो। यह बहुत ही लंबा, अच्छा है
आज आपको मज़ा आ जाएगा। तो मैंने मुस्कुराते हुए सेक्सी अंदाज़ में उससे
कहा कि मोहन यह केला तो बहुत मुलायम है, मुझे तो एकदम टाईट और बहुत बड़ा और
मोटा केला चाहिए। तो उसने मुझे दूसरा केला दिखाते हुए कहा कि तो फिर मेडम
जी आप यह ले लो। फिर मैंने कहा कि मुझे कोई स्पेशल केला दिखाओ, जिसे एक बार
देखकर मेरा मन उसे लेने को पागल हो जाए। में उसकी हर बात का बहुत
मुस्कुराकर जवाब दे रही थी और अब वो मुझसे बहुत खुश था। तो उसने दूसरा केला
निकाला और मुझे दिखाते हुए बोला कि तो फिर आप इसे ले लो। दोस्तों उस समय
मोहन ने निक्कर और बनियान पहनी हुई थी और मुझे उसके निक्कर के ऊपर से ही
उसका लंड महसूस हो रहा था और वो ऊपर से देखने में ही मुझे लगा। उसका लंड
करीब 9 इंच से कम लंबा नहीं होगा। फिर मैंने शरारती अंदाज में उसके लंड की
तरफ इशारा करते हुए कहा कि तुमने तो वहाँ पर एक स्पेशल केला छुपाकर रखा है,
क्या उसे नहीं दिखाओगे? तो वो बोला कि आप मज़ाक कर रही है। तो मैंने कहा
कि में मज़ाक नहीं कर रही हूँ और फिर वो शरमाते हुए बोला कि में यह केला
यहाँ पर कैसे दिखा सकता हूँ? तो मैंने इधर उधर देखा तो आस पास कोई नहीं था
और फिर मैंने एकदम मोहन से कहा कि तुम अंदर आ जाओ और मुझे अपना केला दिखाओ।
तो वो मेरे पीछे पीछे मेरे घर के अंदर आ गया और मैंने दरवाज़ा बंद कर लिया
और फिर मैंने उससे कहा कि हाँ अब तुम मुझे अपना वो केला दिखाओ। तो वो बोला
कि मेडम जी यह केला बिल्कुल भी आपके लायक नहीं है क्योंकि यह बहुत ही बड़ा
और मोटा है और फिर मैंने कहा कि हाँ यह तो और भी अच्छी बात है क्योंकि
मुझे बड़ा केला ही चाहिए।
तो उसने शरमाते हुए अपना लंड अपने निक्कर से बाहर निकाला और बोला कि लो
मेडम जी देख लो। तो मैंने उसे देखकर कहा कि वाह यह तो बहुत ही अच्छा केला
है। मुझे तुम्हारा यह केला बहुत पसंद है और अब मुझे यही केला चाहिए। तो वो
बोला कि नहीं मेडम जी आपको बहुत दर्द होगा। मैंने कहा कि लेकिन बाद में
मज़ा भी तो आएगा। तो वो बोला कि हाँ मज़ा तो बहुत आएगा, लेकिन यह केला खाने
से आपकी चूत फट सकती है? क्योंकि मैंने जब सुहागरात को अपनी बीवी को यह
केला खिलाया था तो वो दूसरे ही दिन मायके चली गयी और फिर आज तक लौट कर नहीं
आई, उसकी चूत कई जगह से फट गयी थी। तो मैंने कहा कि हाँ में तो बहुत दिनों
से ऐसा ही केला खोज रही थी, जो एक ही बार में मेरी चूत को शांत कर सके और
उसे फाड़कर भोसड़ा बना दे, तो वो बोला कि आप एक बार और सोच लो, क्योंकि में
आपको इस केले का मज़ा देने के लिए तैयार हूँ, लेकिन उसके आगे आपकी मर्ज़ी।
फिर में मोहन के नज़दीक गई तो उसके बदन से बदबू आ रही थी। मैंने कहा कि
तुम्हारे बदन से तो बदबू आ रही है पहले तुम नहा लो, उसके बाद में तुम्हारे
इस केले का स्वाद चखूँगी। तो वो बोला कि ठीक है आप मुझे कोई अच्छी सी
खुश्बू वाला साबुन दे दो। तो मैंने उसे एक बहुत अच्छा खुश्बूदार साबुन दे
दिया और वो उठकर बाथरूम में नहाने चला गया।
तो में भी उसके पीछे पीछे बाथरूम तक चली गयी और उसने अपनी बनियान और
निक्कर उतार दी और नहाने लगा। में उसे देखती रही, उसने जब अपने लंड पर
साबुन लगाकर उसे बहुत रगड़ा तो उसका लंड एकदम टाईट हो गया। में उसके 9 इंच
लंबे और बहुत ही मोटे लंड को देखती ही रह गई और मेरे बदन में उसके लंड को
देखकर एकदम आग सी लगने लगी और फिर मैंने बाथरूम में अंदर जाकर उससे कहा कि
लाओ में तुम्हारे इस केले पर साबुन लगा देती हूँ। तो उसने मुझे वो साबुन
देते हुए कहा कि हाँ लो आप ही लगा दो और फिर मैंने उसके लंड पर साबुन लगाना
शुरू कर दिया। में उसके लंड को ज़ोर ज़ोर से ऊपर नीचे करके साबुन लगाने के
बहाने मुठ मार रही थी और थोड़ी ही देर में उसके लंड का जूस निकलने लगा। तो
मैंने उससे कहा कि क्यों तुम्हारे लंड का जूस तो बहुत ही जल्दी निकल गया?
तो वो बोला कि मेरे लंड पर किसी औरत ने अपना हाथ लगभग एक साल बाद लगाया है
और इसलिए में बहुत जोश में आ गया था, लेकिन अब इसका जूस जल्दी नहीं
निकलेगा।
फिर मैंने पूछा कि अब तुम्हारे लंड का जूस कितनी देर में निकलेगा? वो
बोला कि अब तो इसे लगभग एक घंटा लगेगा। तभी मैंने उससे कहा कि अब तुम जल्दी
से नहाकर बाहर आ जाओ और मुझे अपने केले का स्वाद चखने का मौका दो। तो वो
बोला कि मेडम बस में अभी बाहर आता हूँ और 5 मिनट में ही वो नहाकर एकदम नंगा
मेरे बेडरूम में आ गया और अब उसका बदन पानी से गीला और खुशबू से महक रहा
था। मैंने उसका लंड अपने हाथ से सहलाना शुरू कर दिया और थोड़ी देर के बाद
मैंने उसका लंड अपने मुहं में ले लिया और लोलीपोप की तरह चूसने लगी। तो वो
कुछ देर के बाद मुझसे बोला कि मेडम जी अगर आप कहें तो में एक बार आपकी चूत
को अपनी जीभ से चाट लूँ? मैंने कहा कि तब तो और भी ज्यादा मज़ा आएगा, रुको
में लेट जाती हूँ और तुम मेरे ऊपर आ जाओ। तो में एकदम चित्त होकर लेट गयी
और वो मेरे ऊपर 69 की पोज़िशन में आ गया। मैंने उसका लंड मुहं में लेकर
चूसना शुरू कर दिया और वो मेरी चूत को चाटने लगा। लेकिन जैसे ही उसने अपनी
जीभ को मेरी चूत पर लगाई तो मेरे बदन में सनसनी सी होने लगी और में
सिसकियाँ भरते हुए उसके लंड को तेज़ी के साथ चूसने लगी।
फिर दो मिनट के बाद ही मेरी चूत एकदम गीली हो गई। में बड़े प्यार से
मोहन का लंड चूस रही थी। वो बोला कि मेडम जी अब आपकी चूत गीली हो चुकी है
और अब अगर आप कहें तो में आपकी चुदाई शुरू कर दूँ? तो मैंने कहा कि नहीं
अभी और थोड़ी देर तक मेरी चूत को चाटो, फिर उसके बाद मेरी चुदाई करना और वो
फिर से मेरी चूत को चाटने लगा। करीब 5 मिनट के बाद में झड़ गई और फिर
मैंने उससे कहा कि अब तुम मेरी चुदाई करो। तो वो मेरे दोनों पैरों के बीच
में आ गया और उसने मेरे चूतड़ के नीचे दो तकिये रख दिए जिसकी वजह से मेरी
चूत एकदम ऊपर उठ गयी और उसके बाद उसने एक पका हुआ केला लेकर मसल डाला और
केले का थोड़ा सा गूदा मेरी चूत पर लगा दिया। तो मैंने उससे कहा कि तुम यह
क्या कर रहे हो? वो बोला कि बस आप चुपचाप देखती जाओ, में आज क्या क्या करता
हूँ? और फिर उसने थोड़ा सा केले का गुदा अपने पूरे लंड पर लगा लिया और उसके
बाद उसने अपने लंड का सुपड़ा मेरी चूत के होंठो को फैलाकर बिल्कुल बीच में
रख दिया और बोला कि अब केले के गुदे की वजह से मेरा यह लंबा और मोटा लंड
पूरा का पूरा आपकी चूत में बहुत आसानी से घुस जाएगा।
तो उसने अपना लंड धीरे धीरे मेरी चूत के अंदर दबाना शुरू कर दिया और
उसका लंड बहुत आराम से फिसलते हुए मेरी चूत में घुसने लगा। लेकिन मुझे
हल्का हल्का दर्द होने लगा और जैसे ही उसका लंड मेरी चूत में लगभग 5 इंच तक
घुसा तो मुझे बहुत ज़्यादा दर्द महसूस होने लगा और मेरे मुहं से चीख
निकलने लगी अह्ह्ह्हह्ह्ह्ह मोहन अऊह्ह्ह्हह्ह आईईईईइ थोड़ा धीरे प्लीज बहुत
दर्द हो रहा है। तो वो बोला कि मेडम जी बस थोड़ा और सब्र करो, अब यह आपकी
चूत में पूरा का पूरा बड़ी आसानी से घुस जाएगा और उसने अपने लंड को मेरी चूत
पर दबाना लगातार जारी रखा। लेकिन अब दर्द के मारे मेरा बहुत बुरा हाल था,
मुझे ऐसा लग रहा था कि जैसे कोई गरम लोहा मेरी चूत को चीरता हुआ अंदर घुसता
जा रहा हो। मेरा सारा बदन थर-थर काँपने लगा और मेरी टाँगें जवाब देने लगी
और जब उसका पूरा का पूरा लंड मेरी चूत के अंदर घुस गया तो मैंने मोहन से
रुक जाने को कहा और फिर वो रुक गया। अब वो मेरे बूब्स को मसलते हुए मुझे
चूमने लगा और थोड़ी ही देर बाद जब मेरा दर्द कुछ कम हो गया तो मैंने कहा कि
अब तुम बहुत ही धीरे धीरे अपना लंड मेरी चूत के अंदर बाहर करो वर्ना मेरी
चूत फट जाएगी और फिर वो अपना लंड मेरी चूत में धीरे धीरे अंदर बाहर करने
लगा, लेकिन मुझे फिर से दर्द होने लगा और में दर्द के मारे चीखने चिल्लाने
लगी अह्ह्ह्हह्ह्ह्ह मोहन प्लीज थोड़ा धीरे करो आईईईइ माँ बचाओ मुझे
उफ्फ्फ्फफ्फ्फ़ और मेरा सारा बदन पसीने से नहा गया था और वो 5 मिनट तक बहुत
ही धीरे धीरे अपना लंड मेरी चूत के अंदर बाहर करता रहा और अब मेरा दर्द कुछ
कम हो चुका था और मुझे मज़ा आने लगा था।
फिर दो मिनट के बाद ही में झड़ गई, तो मैंने मोहन से कहा कि अब तुम जिस
तरह से चाहो मेरी चुदाई करो, में तुमसे कुछ भी नहीं कहूंगी और फिर उसने
अपनी स्पीड को बढ़ा दिया और ज़ोर ज़ोर के धक्के लगाने लगा। अब मुझे और
ज़्यादा मज़ा आने लगा और में अपना चूतड़ उठा उठाकर मोहन का साथ देने लगी।
मुझे एकदम ज़न्नत का मज़ा मिल रहा था जो कि मुझे आज तक कभी नहीं मिला। वो
मेरे बूब्स को मसलते हुए मेरी चुदाई कर रहा था। दस मिनट और चुदवाने के बाद
जब में फिर से झड़ गयी तो उसने अपने लंड को मेरी चूत के बाहर निकाल लिया।
तो मैंने उससे पूछा कि अब क्या हुआ? तो वो बोला कि अब में अपना लंड और आपकी
चूत को साफ कर देता हूँ और फिर से आपकी चुदाई करूँगा और अब इस केले के
गुदे का कोई काम नहीं है। वो तो मैंने अपना यह लंबा और मोटा लंड आपकी चूत
में आसानी से घुसाने के लिए लगाया था। तो उसने बेड की चादर से मेरी चूत को
साफ कर दिया और फिर अपने लंड को साफ करने लगा। उसके बाद उसने अपने लंड को
फिर से मेरी चूत में धीरे धीरे घुसना शुरू कर दिया। मुझे फिर से दर्द होने
लगा, लेकिन मैंने उसे नहीं रोका और धीरे धीरे उसने अपना पूरा का पूरा लंड
मेरी चूत में घुसा दिया और मुझे धीरे धीरे धक्के देकर चोदने लगा और दस मिनट
तक चुदवाने के बाद में फिर से झड़ गयी तो उसने मुझे डॉगी स्टाइल में कर
दिया।
फिर उसके बाद उसने अपना पूरा का पूरा लंड एक ही झटके से मेरी चूत में
डाल दिया। मेरे मुहं से ज़ोर की चीख निकली लेकिन वो फिर भी नहीं रुका। वो
मुझे एकदम आँधी की तरह से चोदने लगा और सारा बेड ज़ोर ज़ोर से हिलने लगा।
रूम में छप-छप और धप-धप की आवाज़ गूँज रही थी, में जोश से पागल सी हुई जा
रही थी और मैंने और तेज, और तेज कहना शुरू कर दिया था और मोहन ने भी मेरी
आवाज़ सुनकर बहुत ही जोरदार धक्के लगाते हुए मेरी चुदाई करनी शुरू कर दी और
अब उसके हर धक्के से मेरे बदन का सारा का सारा जोड़ हिल रहा था। वो बहुत ही
बुरी तरह से मेरी चुदाई कर रहा था। में भी पूरे जोश के साथ मोहन से चुदवा
रही थी और करीब 10-15 मिनट की चुदाई के बाद में फिर से झड़ गई तो उसने फिर
से अपना लंड मेरी चूत के बाहर निकाल लिया और मुझे बेड के किनारे पर लेटा
दिया और उसके बाद वो मेरी टाँगों के बीच में आकर ज़मीन पर खड़ा हो गया और
मेरी चुदाई करने लगा और अब वो मेरे दोनों बूब्स को मसलते, दबाते हुए मुझे
बहुत ही तेज़ी के साथ धक्के देकर चोद रहा था और मुझे बहुत ही मज़ा आ रहा था
और मेरे मुहं से ऊहहआअहह और तेज, हाँ और तेज, हाँ आज फाड़ दो मेरी चूत को
की आवाज़ निकलने लगी।
तो वो भी पूरा जोश और दम लगाकर मेरी चुदाई कर रहा था। इसी तरह से उसने
मुझे लगभग 45 मिनट तक चोदा और फिर मेरी चूत में ही झड़ गया और उसके साथ ही
साथ में भी झड़ गई। वो मेरे ऊपर लेट गया और मुझे चूमने लगा, लेकिन अब हम
दोनों की साँसें बहुत तेज चल रही थी और में इस चुदाई के दौरान 5 बार झड़
चुकी थी और आज मुझे पहली बार चुदवाने का वो मज़ा मिला जिसका में बरसों से
इंतज़ार कर रही थी और थोड़ी ही देर के बाद जब उसका लंड मेरी चूत में एकदम
ढीला पड़ गया तो उसने अपना लंड झट से बाहर निकाल लिया और एकदम मेरे ऊपर से
हट गया। उसने अपने कपड़े पहन लिए और बोला कि अब में अपने धंधे पर जा रहा
हूँ। फिर मैंने उससे कहा कि अब तुम हर रोज आकर मेरी चुदाई ज़रूर करना, मुझे
तुम्हारा चुदाई करने का तरीका बहुत अच्छा लगा तो वो बोला कि मुझे भी आज
आपकी चुदाई करने में वो मज़ा आया है कि उसे शब्दों में नहीं बता सकता और अब
में रोज ही आपकी चुदाई करूँगा। उसने मुझे कुछ फल दिए और कहा कि आप इसको खा
लेना बदन में ताक़त आ जाएगी और आपकी यह सारी थकान मिट जाएगी। में आपका
साबुन अपने घर ले जाता हूँ, कल से में घर से ही नहाकर आऊंगा और फिर से आपकी
चुदाई करूँगा। तो उसके बाद वो चला गया, लेकिन उसके दूसरे दिन से ही में
उससे लगातार एक महीने तक रोज चुदवाती रही और बहुत मज़े लेती रही। फिर एक दिन
चूत मरवाने के बाद मैंने मोहन से कहा कि अब में तुमसे अपनी गांड भी मरवाना
चाहती हूँ तो वो मेरी यह बात सुनकर बहुत ही खुश हो गया और मोहन से पहली
बार गांड मरवाने के बाद में तीन चार दिनों तक ठीक से चल भी नहीं पा रही थी।
लेकिन उसके बाद में मोहन से आराम से गांड भी मरवाने लगी और अब मुझे उससे
गांड मरवाने में भी बहुत मज़ा आता है। वो हर रोज ही मेरे पास आता और तरह
तरह की स्टाइल में मेरी बहुत ही बुरी तरह से चुदाई करता था और अब वो लगभग
एक घंटे के बाद ही झड़ता था और वो मेरी गांड भी बहुत ही बुरी तरह से मारता
था। लगभग एक महीने तक मैंने मोहन से चूत और गांड दोनों ही मरवाई, लेकिन
उसके बाद वो अपने गावं वापस चला गया और मुझे मोहन के लंड से चुदवाने में जो
मज़ा आया, वो मज़ा मुझे अब तक नहीं मिला और ना ही मोहन के जैसा लंबा और
मोटा लंड मिला ।।
धन्यवाद …
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Sunday, January 24, 2016
मेरे दो नए प्यारे लंड
हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम रश्मी है और आज में पहली बार आप सभी के सामने
नाईटडिअर डॉट कॉम
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पर अपनी एक सच्ची कहानी शेयर कर रही हूँ, दोस्तों वैसे यह घटना कोई प्यार की नहीं है, लेकिन बेवफ़ाई की है और सेक्स की है। मेरी उम्र 32 है और में एक शादीशुदा औरत हूँ और मेरे दो बेटे है। मेरी शादी को हुए 14 साल हो चुके है। मैंने अब तक अपने पति के अलावा किसी और के साथ सेक्स का रिश्ता नहीं रखा था, क्योंकि मैंने सोचा था कि मुझे प्यार करने वाला मेरा पति होगा, एक परिवार होगा, लेकिन जैसा हम चाहते है हमेशा वैसा होता नहीं है। मेरे दोनों बच्चो को कुछ समय पहले मेरे पति ने हॉस्टल में पढ़ने के लिए घर से बाहर भेज दिया और अब वो कभी मुझे वक़्त नहीं देते और घर में जैसे उनसे बात करना तो बिल्कुल असम्भव ही नहीं बहुत मुश्किल भी था, क्योंकि उन्हे बात करना पसंद नहीं था। घर पर एक वीरान सी खामोशी रहती थी, बस टीवी की आवाज़ के अलावा बाहर काम करना या बिना इज़ाज़त के बाहर घूमना यह तो बिल्कुल असम्भव था और अब मेरे तो सभी सपने पिंजरे में बंद थे।
दोस्तों में दिखने में बहुत अच्छी हूँ और मेरे फिगर का साईज 34–28–30 और हाईट 5 फिट 8 इंच है और गोरी और बहुत सुंदर हूँ। खेर अब यह सब बताने की ज़रूरत नहीं है मैंने कभी मेरे पति के मुहं से मेरी अपनी तारीफ नहीं सुनी और मेरे पति को चाहिए कि में सेक्स के दौरान लेटी रहूँ और वो जो मन में आए करे, लेकिन मेरा चुदाई के लिए आग्रह करना उन्हे बर्दाश्त नहीं था, वो मुझसे कहते है कि घरेलू औरत को सिर्फ़ शरमाना चाहिए, हे मेरी फूटी किस्मत, लेकिन मुझे पूरी पूरी उम्मीद थी कि यह एक दिन खुलने वाली थी और कुछ पलों के लिए ही सही, लेकिन में एक दिन जन्नत की सेर करने वाली थी और दोस्तों यह वही कहानी है।
दोस्तों हमारे भूत बंगले जैसे घर में काम करने वाली तो आती है, लेकिन एक वॉशिंग मशीन भी है। मेरे पति एक दिन एक नई वॉशिंग मशीन ले आए थे और फिर उन्होंने मुझसे कहा कि अगर तुम्हे इसमें कोई भी दिक्कत होती है तो तुम इस नंबर पर सर्विस सेंटर कॉल करना। फिर वो मशीन तीन चार दिनों तक बिल्कुल ठीक तक चली, लेकिन उसके बाद में पता नहीं वो क्यों स्टार्ट ही नहीं हो रही था? तो मैंने सर्विस सेंटर में फोन किया और उन्होंने मुझे बताया कि उनके आदमी मेरे घर पर आ जायेंगे। दोस्तों दो महीने पहले की बात है दरसल में उन दिनों अख़बार के सप्ताहिकी एडिशन में आने वाली सेक्स और प्यार की कहानियों में अपने आप को ढूंढने लगती थी और में उस समय कमरे में बैठकर अंदर अपने ही हाथों से अपनी चूत में उंगली को डाल डालकर बहुत खुश हो रही थी। तभी इसी बीच वो खराब वॉशिंग मशीन के दो इंजिनीयर्स घर पर आए, वहां पर काम वाली थी तो मैंने उनसे कहा कि वो खुद देख ले और में अंदर कमरे में चली गयी, लेकिन मुझे पता नहीं चला कि बाहर क्या हुआ? लेकिन मुझे बाद में पता चला कि वो काम वाली तो जल्दी ही निकल गयी और उन इंजिनीयर्स ने यह तय कर लिया था कि वो पूरी मशीन को ही बदलकर देंगे तो उन्होंने सेंटर में शिकायत दर्ज करवा दी थी और अब उन्हे एक पेपर पर सिर्फ़ मेरे साईन लेकर चले जाना था। फिर जब वो मुझे ढूंड रहे थे तब वहां पर एक छोटी सी खिड़की ने सारी बातें बदला दी। में जिस कमरे में बैठकर अपनी चूत में उंगली डालकर सहला रही थी वो रूम तो बंद था, लेकिन दूसरा दरवाजा पूरी तरह से बंद नहीं था और खिड़की थोड़ी खुली रह गयी थी और जब वो दोनों इंजिनीयर्स मुझे ढूँढ रहे थे। तभी शायद एक की नज़र मुझ पर पड़ी, लेकिन में तो अब तक अपने काम में बहुत मस्त थी। फिर वहां पर एकदम से एक इंजिनियर सीधा अंदर चला आया। में चकित हो गई और मेरे गले से आवाज़ तक नहीं निकली, में हिल भी नहीं पाई इतनी चकित हो गई थी। फिर उसने मेरे पास आकर मुझे बिल्कुल चुप रहने का इशारा किया और अब वो सीधे मेरी चूत में धीरे धीरे अपनी उंगली डालने लगा और मुझे कुछ भी समझ में नहीं आ रहा था कि में कैसे उससे मना करूं? में एकदम सन्न रह गयी थी, लेकिन मुझे उसका छूना बेहद अच्छा लगा। मैंने उसके आगे फिर कुछ नहीं सोचा, लेकिन आज जब भी सोचती हूँ तो धक्का लगता है, लेकिन उस समय में बहुत बेबस थी और कुछ सोचना ही नहीं चाहती थी और इतने में दूसरा लड़का भी अंदर आ गया उसने मुहं पर अपनी एक उंगली रखते हुए शीईईईइ कहते हुए मुझे चुप रहने को कहा और फिर नज़दीक आकर बोला कि मेरा नाम अमर है और यह नकुल तुम बिल्कुल भी चिंता मत करो, क्योंकि किसी को कुछ पता नहीं चलेगा। फिर इतने में नकुल ने कहा कि मुझे लगता है कि आप बरसों से बहुत प्यासी है? और हम दोनों आपकी यह प्यास ज़रूर बुझा देंगे। आपकी चूत बहुत सुंदर है। फिर अमर ने भी कहा कि हाँ एकदम हॉट, सेक्सी। फिर दोस्तों उनके मुहं से यह बात सुनकर जैसे मेरी चरम सीमा के सारे बाँध टूट गये और अब में भी एंजाय करने लगी थी और अमर मुझे किस करने लगा और फिर बोला कि किस करते वक़्त अपना इतना मुहं इतना जकड़कर मत रखो अपने लबों को लबों से मिलने तो दो मेरी रानी।
दोस्तों मैंने पहली बार इतनी गहरी किसिंग की, में शब्दों में उस बात को बता नहीं सकती मुझे इतनी खुशी मिल रही थी। अब अमर ने अपनी शर्ट को उतार दिया और पेंट को भी और अब उसने मेरा टॉप भी उतार दिया और वैसे हमेशा में घर पर ब्रा नहीं पहनती थी और अब मेरे ब्रेस्ट जिसे वो बूब्स कहने लगे, उस पर वो दोनों टूट पड़े। अमर और नकुल उसे मसलने लगे, काटने लगे, ज़ोर ज़ोर से दबाने लगे और निप्पल को काटने लगे थे। फिर मेरे लिए यह सब बहुत ही अजीब था और मेरी सोच से कुछ ज्यादा था। अमर सिर्फ़ अंडरवियर में था और अब उसके खड़े लंड का साईज़ साफ साफ दिख रहा था, वो बहुत बड़ा था और अब नकुल ने भी अपने कपड़े उतार लिए में तो नकुल का लंड देखकर ही एकदम डर गई, क्योंकि वो अभी से लगभग 7 इंच का था कुछ देर तक किस्सिंग करने के बाद नकुल ने अपना लंड बाहर निकाला और मुझे मेरे मुहं के सामने ला दिया और कहा कि चूसो इसे। फिर में इस काम में थोड़ी ना समझ थी, क्योंकि मैंने पहले कभी ऐसा नहीं किया था और जैसे कि मैंने पहले बताया है कि मेरे पति ऐसा कुछ नहीं करते थे।
अब मुझे देखकर नकुल उसी बेडरूम के फ्रीज़ में से चाकलेट सॉस की बॉटल ले आया और फिर उसने उसको अपने लंड पर लगाया और बोला कि अब तो मुझे ले लो मेडम, तुम्हे यह बहुत अच्छा लगेगा। दोस्तों में उस वक़्त कुछ भी करने को तैयार थी, मैंने नकुल का लंड अपने मुहं में ले लिया और अब में उसे सक करने लगी और अब अमर भी आ गया और में अब बारी बारी से दोनों के लंड को सक कर रही थी ऑश वाअहह में बता नहीं सकती कि में उस समय कितनी खुश थी। नकुल का लंड बड़ा होकर करीब 9 इंच का हो गया था और अमर का 8 का काला मोटा नाग बहुत देर तक उन दोनों के लंड को मैंने एक एक करके सक किया और कुछ देर के बाद में नकुल वहां से बेड पर सीधा लेट गया और वो मुझसे बोला कि आ जाओ मेडम हम तुम्हे आज जन्नत की सेर करवाते है और अमर ने मेरी चूत में दो तीन बार उंगली डाली और मेरी चूत का गरम रस निकल गया अमर ने नकुल से कहा कि लगता है यह बहुत तैयार हो चुकी है और मुझे देखकर कहा कि चलो सेक्सी आज कुछ तूफानी करते है और अब उसने मुझे नकुल के लंड पर बैठने को कहा नकुल का लंड करीब 9 का था और मैंने इतना बड़ा लंड इससे पहले कभी नहीं लिया था। फिर अमर मुझसे बोला कि तुम बिल्कुल भी डरो नहीं, थोड़ा दर्द तो होगा, लेकिन दर्द में ही तो मज़ा है और फिर नकुल ने मुझसे कहा कि आ जाओ मेडम मुझे आपकी चूत को देखकर लगता नहीं कि आपने कभी असली लंड से सेक्स किया हो, आ जाओ। फिर मैंने बहुत साहस किया, लेकिन जैसे ही नकुल का लंड मेरे अंदर आया में तो बहुत ज़ोर से चीख पढ़ी और अब में खड़े होने की नाकाम कोशिश करने लगी, लेकिन अमर ने मुझे कसकर पकड़ लिया और ऊपर से भी ज़ोर से झटका देकर मुझे नकुल के खड़े बड़े 9 इंच के लंड पर दे मारा।
में तो ज़ोर से चीख पड़ी अह्ह्ह्हह्ह्ह् अह्ह्हह्ह्ह्ह ऊउईईईईईई माँ, अमर ने मुहं पर हाथ रख दिया जिससे आवाज़ बाहर ना जाए और बोला कि जल्दी जल्दी धक्के लगाओ अच्छा लगेगा। फिर मैंने कहा कि उह्ह्ह प्लीज इसे आईईई बाहर निकालो, नकुल ने भी कहा कि इसे धक्के लगाओ यह तभी बाहर निकलेगा और अब यह घोड़ा मेरा कहा नहीं मानेगा और फिर में ज़ोर ज़ोर से धक्के लगाने लगी और मुझे कुछ देर बाद बहुत अच्छा लगने लगा, लेकिन दर्द भी बहुत हुआ था अहहह्ह्ह्ह उफ्फफ्फ्फ़ और अब में सच में जन्नत में थी। वो बहुत दमदार लंड था और आज मुझे पहली बार सेक्स करते समय इतना मज़ा आ रहा था, लेकिन कुछ ही देर में एक बार फिर मज़ा दर्द में बदल गया। में तो नकुल के लंड पर ही थी और अब अमर ने मुझे ज़ोर से आगे की तरफ धक्का देकर नकुल के ऊपर सुला दिया और पीछे से अपना लंड मेरी गांड में घुसा दिया अह्ह्हह्ह्ह्ह ऊईईईईईईईई माँ मर गई हाए ऊईईईईईईईईईईईईईई में मर गइईईईईईई। फिर मैंने उससे कहा कि नहीं, यहाँ पर नहीं, नकुल मुझे नीचे से पकड़ते हुए बोला कि मज़े करो मेडम, तेरी चूत और गांड दोनों किसी कुंवारी लड़की की जैसी ही थी, क्या हमें पागल समझा है जो अब हम छोड़ेंगे मज़ा लो। फिर इस बार में ज़ोर ज़ोर से रो ही पड़ी, क्योंकि में उन दोनों के बीच में थी और अब मेरा दर्द बर्दाश्त के बाहर था।
अमर ने अब डॉगी स्टाईल में मुझे बैठने को कहा और पीछे से मेरी गांड में अपना लंड घुसा दिया अहह और नकुल ने अपना लंड मेरे मुहं में डाल दिया अहहऊहह आआआअहह। में अब फिर से एक बार जन्नत में थी में जैसे अब कुछ ही पलों में बिखरने वाली थी और अपनी चरम पर पहुँचने वाली थी इस पोज़िशन में अमर ने बहुत देर तक मुझे चोदा और में भी अपनी कमर को हिला हिलाकर उसका साथ दे रही थी और नकुल मेरे मुहं को चोद रहा था और अब में चरम सीमा पर पहुँच गयी, लेकिन वो दोनों बारी बारी से अभी भी मेरी चूत को मार रहे थे। फिर मैंने कहा कि अब बस करो, में अब बहुत थक चुकी हूँ, तभी इतने में नकुल ने कहा कि हमने आज तक कभी भी इतनी अच्छे से किसी के घर की मशीन को ठीक नहीं किया। आज तो हमने जमकर मेहनत की है मेडम और फिर नकुल ने अपना वीर्य छोड़ दिया और वो भी मेरे मुहं में और मेरा मुहं पकड़कर रखा जिससे में बाहर ना निकल सकूं। में थोड़ी नाराज़ भी हो गई तो अमर ने अपना सारा वीर्य मेरी छाती पर गिरा दिया और कहा कि तुम सिर्फ़ सुंदर ही नहीं एकदम सेक्सी भी हो। फिर वो दोनों अब अपने अपने कपड़े पहनने लगे और मैंने भी अपने कपड़े पहन लिए। तभी नकुल ने मुझसे कहा कि मेडम जी अब तो इस पेपर्स पर अपने साइन कर दो, बाकी प्यार की निशानी तो आपके पास ही है। मुझे नकुल का यह शरारती स्वाभाव बहुत अच्छा लगा और में थोड़ा सा उनकी तरफ मुस्कुराई और फिर मैंने उन पेपर पर साईन कर दिया और वो दोनों चले गये। एक महीने बाद उन दोनों ने फिर से मुझे कॉल किया, लेकिन मैंने साफ साफ मना कर दिया दोस्तों ऐसा नहीं कि मुझे उनकी चुदाई में मज़ा नहीं आया था, लेकिन अब मेरी दुनिया अलग थी, सज़ा जैसी ही क्यों ना थी, लेकिन वो ही मेरी दुनिया थी और वो ही मेरी वास्तविकता है और में उसमे बहुत खुश हूँ कि मुझे बहतरीन सेक्स का आनंद मिला और मैंने पहली बार सेक्स में चरम सीमा पाने का आनंद लिया था। मैंने उसके बाद अपने पति से ही अपनी चुदाई करवाना उचित समझा और अब में उनके साथ ही बहुत खुश हूँ, चाहे वो कैसे भी हो? मुझे उस बात से कोई फर्क नहीं पढ़ता। दोस्तों में उम्मीद करती हूँ कि आप सभी को मेरी यह कहानी जरुर पसंद आई होगी ।।
धन्यवाद …
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पर अपनी एक सच्ची कहानी शेयर कर रही हूँ, दोस्तों वैसे यह घटना कोई प्यार की नहीं है, लेकिन बेवफ़ाई की है और सेक्स की है। मेरी उम्र 32 है और में एक शादीशुदा औरत हूँ और मेरे दो बेटे है। मेरी शादी को हुए 14 साल हो चुके है। मैंने अब तक अपने पति के अलावा किसी और के साथ सेक्स का रिश्ता नहीं रखा था, क्योंकि मैंने सोचा था कि मुझे प्यार करने वाला मेरा पति होगा, एक परिवार होगा, लेकिन जैसा हम चाहते है हमेशा वैसा होता नहीं है। मेरे दोनों बच्चो को कुछ समय पहले मेरे पति ने हॉस्टल में पढ़ने के लिए घर से बाहर भेज दिया और अब वो कभी मुझे वक़्त नहीं देते और घर में जैसे उनसे बात करना तो बिल्कुल असम्भव ही नहीं बहुत मुश्किल भी था, क्योंकि उन्हे बात करना पसंद नहीं था। घर पर एक वीरान सी खामोशी रहती थी, बस टीवी की आवाज़ के अलावा बाहर काम करना या बिना इज़ाज़त के बाहर घूमना यह तो बिल्कुल असम्भव था और अब मेरे तो सभी सपने पिंजरे में बंद थे।
दोस्तों में दिखने में बहुत अच्छी हूँ और मेरे फिगर का साईज 34–28–30 और हाईट 5 फिट 8 इंच है और गोरी और बहुत सुंदर हूँ। खेर अब यह सब बताने की ज़रूरत नहीं है मैंने कभी मेरे पति के मुहं से मेरी अपनी तारीफ नहीं सुनी और मेरे पति को चाहिए कि में सेक्स के दौरान लेटी रहूँ और वो जो मन में आए करे, लेकिन मेरा चुदाई के लिए आग्रह करना उन्हे बर्दाश्त नहीं था, वो मुझसे कहते है कि घरेलू औरत को सिर्फ़ शरमाना चाहिए, हे मेरी फूटी किस्मत, लेकिन मुझे पूरी पूरी उम्मीद थी कि यह एक दिन खुलने वाली थी और कुछ पलों के लिए ही सही, लेकिन में एक दिन जन्नत की सेर करने वाली थी और दोस्तों यह वही कहानी है।
दोस्तों हमारे भूत बंगले जैसे घर में काम करने वाली तो आती है, लेकिन एक वॉशिंग मशीन भी है। मेरे पति एक दिन एक नई वॉशिंग मशीन ले आए थे और फिर उन्होंने मुझसे कहा कि अगर तुम्हे इसमें कोई भी दिक्कत होती है तो तुम इस नंबर पर सर्विस सेंटर कॉल करना। फिर वो मशीन तीन चार दिनों तक बिल्कुल ठीक तक चली, लेकिन उसके बाद में पता नहीं वो क्यों स्टार्ट ही नहीं हो रही था? तो मैंने सर्विस सेंटर में फोन किया और उन्होंने मुझे बताया कि उनके आदमी मेरे घर पर आ जायेंगे। दोस्तों दो महीने पहले की बात है दरसल में उन दिनों अख़बार के सप्ताहिकी एडिशन में आने वाली सेक्स और प्यार की कहानियों में अपने आप को ढूंढने लगती थी और में उस समय कमरे में बैठकर अंदर अपने ही हाथों से अपनी चूत में उंगली को डाल डालकर बहुत खुश हो रही थी। तभी इसी बीच वो खराब वॉशिंग मशीन के दो इंजिनीयर्स घर पर आए, वहां पर काम वाली थी तो मैंने उनसे कहा कि वो खुद देख ले और में अंदर कमरे में चली गयी, लेकिन मुझे पता नहीं चला कि बाहर क्या हुआ? लेकिन मुझे बाद में पता चला कि वो काम वाली तो जल्दी ही निकल गयी और उन इंजिनीयर्स ने यह तय कर लिया था कि वो पूरी मशीन को ही बदलकर देंगे तो उन्होंने सेंटर में शिकायत दर्ज करवा दी थी और अब उन्हे एक पेपर पर सिर्फ़ मेरे साईन लेकर चले जाना था। फिर जब वो मुझे ढूंड रहे थे तब वहां पर एक छोटी सी खिड़की ने सारी बातें बदला दी। में जिस कमरे में बैठकर अपनी चूत में उंगली डालकर सहला रही थी वो रूम तो बंद था, लेकिन दूसरा दरवाजा पूरी तरह से बंद नहीं था और खिड़की थोड़ी खुली रह गयी थी और जब वो दोनों इंजिनीयर्स मुझे ढूँढ रहे थे। तभी शायद एक की नज़र मुझ पर पड़ी, लेकिन में तो अब तक अपने काम में बहुत मस्त थी। फिर वहां पर एकदम से एक इंजिनियर सीधा अंदर चला आया। में चकित हो गई और मेरे गले से आवाज़ तक नहीं निकली, में हिल भी नहीं पाई इतनी चकित हो गई थी। फिर उसने मेरे पास आकर मुझे बिल्कुल चुप रहने का इशारा किया और अब वो सीधे मेरी चूत में धीरे धीरे अपनी उंगली डालने लगा और मुझे कुछ भी समझ में नहीं आ रहा था कि में कैसे उससे मना करूं? में एकदम सन्न रह गयी थी, लेकिन मुझे उसका छूना बेहद अच्छा लगा। मैंने उसके आगे फिर कुछ नहीं सोचा, लेकिन आज जब भी सोचती हूँ तो धक्का लगता है, लेकिन उस समय में बहुत बेबस थी और कुछ सोचना ही नहीं चाहती थी और इतने में दूसरा लड़का भी अंदर आ गया उसने मुहं पर अपनी एक उंगली रखते हुए शीईईईइ कहते हुए मुझे चुप रहने को कहा और फिर नज़दीक आकर बोला कि मेरा नाम अमर है और यह नकुल तुम बिल्कुल भी चिंता मत करो, क्योंकि किसी को कुछ पता नहीं चलेगा। फिर इतने में नकुल ने कहा कि मुझे लगता है कि आप बरसों से बहुत प्यासी है? और हम दोनों आपकी यह प्यास ज़रूर बुझा देंगे। आपकी चूत बहुत सुंदर है। फिर अमर ने भी कहा कि हाँ एकदम हॉट, सेक्सी। फिर दोस्तों उनके मुहं से यह बात सुनकर जैसे मेरी चरम सीमा के सारे बाँध टूट गये और अब में भी एंजाय करने लगी थी और अमर मुझे किस करने लगा और फिर बोला कि किस करते वक़्त अपना इतना मुहं इतना जकड़कर मत रखो अपने लबों को लबों से मिलने तो दो मेरी रानी।
दोस्तों मैंने पहली बार इतनी गहरी किसिंग की, में शब्दों में उस बात को बता नहीं सकती मुझे इतनी खुशी मिल रही थी। अब अमर ने अपनी शर्ट को उतार दिया और पेंट को भी और अब उसने मेरा टॉप भी उतार दिया और वैसे हमेशा में घर पर ब्रा नहीं पहनती थी और अब मेरे ब्रेस्ट जिसे वो बूब्स कहने लगे, उस पर वो दोनों टूट पड़े। अमर और नकुल उसे मसलने लगे, काटने लगे, ज़ोर ज़ोर से दबाने लगे और निप्पल को काटने लगे थे। फिर मेरे लिए यह सब बहुत ही अजीब था और मेरी सोच से कुछ ज्यादा था। अमर सिर्फ़ अंडरवियर में था और अब उसके खड़े लंड का साईज़ साफ साफ दिख रहा था, वो बहुत बड़ा था और अब नकुल ने भी अपने कपड़े उतार लिए में तो नकुल का लंड देखकर ही एकदम डर गई, क्योंकि वो अभी से लगभग 7 इंच का था कुछ देर तक किस्सिंग करने के बाद नकुल ने अपना लंड बाहर निकाला और मुझे मेरे मुहं के सामने ला दिया और कहा कि चूसो इसे। फिर में इस काम में थोड़ी ना समझ थी, क्योंकि मैंने पहले कभी ऐसा नहीं किया था और जैसे कि मैंने पहले बताया है कि मेरे पति ऐसा कुछ नहीं करते थे।
अब मुझे देखकर नकुल उसी बेडरूम के फ्रीज़ में से चाकलेट सॉस की बॉटल ले आया और फिर उसने उसको अपने लंड पर लगाया और बोला कि अब तो मुझे ले लो मेडम, तुम्हे यह बहुत अच्छा लगेगा। दोस्तों में उस वक़्त कुछ भी करने को तैयार थी, मैंने नकुल का लंड अपने मुहं में ले लिया और अब में उसे सक करने लगी और अब अमर भी आ गया और में अब बारी बारी से दोनों के लंड को सक कर रही थी ऑश वाअहह में बता नहीं सकती कि में उस समय कितनी खुश थी। नकुल का लंड बड़ा होकर करीब 9 इंच का हो गया था और अमर का 8 का काला मोटा नाग बहुत देर तक उन दोनों के लंड को मैंने एक एक करके सक किया और कुछ देर के बाद में नकुल वहां से बेड पर सीधा लेट गया और वो मुझसे बोला कि आ जाओ मेडम हम तुम्हे आज जन्नत की सेर करवाते है और अमर ने मेरी चूत में दो तीन बार उंगली डाली और मेरी चूत का गरम रस निकल गया अमर ने नकुल से कहा कि लगता है यह बहुत तैयार हो चुकी है और मुझे देखकर कहा कि चलो सेक्सी आज कुछ तूफानी करते है और अब उसने मुझे नकुल के लंड पर बैठने को कहा नकुल का लंड करीब 9 का था और मैंने इतना बड़ा लंड इससे पहले कभी नहीं लिया था। फिर अमर मुझसे बोला कि तुम बिल्कुल भी डरो नहीं, थोड़ा दर्द तो होगा, लेकिन दर्द में ही तो मज़ा है और फिर नकुल ने मुझसे कहा कि आ जाओ मेडम मुझे आपकी चूत को देखकर लगता नहीं कि आपने कभी असली लंड से सेक्स किया हो, आ जाओ। फिर मैंने बहुत साहस किया, लेकिन जैसे ही नकुल का लंड मेरे अंदर आया में तो बहुत ज़ोर से चीख पढ़ी और अब में खड़े होने की नाकाम कोशिश करने लगी, लेकिन अमर ने मुझे कसकर पकड़ लिया और ऊपर से भी ज़ोर से झटका देकर मुझे नकुल के खड़े बड़े 9 इंच के लंड पर दे मारा।
में तो ज़ोर से चीख पड़ी अह्ह्ह्हह्ह्ह् अह्ह्हह्ह्ह्ह ऊउईईईईईई माँ, अमर ने मुहं पर हाथ रख दिया जिससे आवाज़ बाहर ना जाए और बोला कि जल्दी जल्दी धक्के लगाओ अच्छा लगेगा। फिर मैंने कहा कि उह्ह्ह प्लीज इसे आईईई बाहर निकालो, नकुल ने भी कहा कि इसे धक्के लगाओ यह तभी बाहर निकलेगा और अब यह घोड़ा मेरा कहा नहीं मानेगा और फिर में ज़ोर ज़ोर से धक्के लगाने लगी और मुझे कुछ देर बाद बहुत अच्छा लगने लगा, लेकिन दर्द भी बहुत हुआ था अहहह्ह्ह्ह उफ्फफ्फ्फ़ और अब में सच में जन्नत में थी। वो बहुत दमदार लंड था और आज मुझे पहली बार सेक्स करते समय इतना मज़ा आ रहा था, लेकिन कुछ ही देर में एक बार फिर मज़ा दर्द में बदल गया। में तो नकुल के लंड पर ही थी और अब अमर ने मुझे ज़ोर से आगे की तरफ धक्का देकर नकुल के ऊपर सुला दिया और पीछे से अपना लंड मेरी गांड में घुसा दिया अह्ह्हह्ह्ह्ह ऊईईईईईईईई माँ मर गई हाए ऊईईईईईईईईईईईईईई में मर गइईईईईईई। फिर मैंने उससे कहा कि नहीं, यहाँ पर नहीं, नकुल मुझे नीचे से पकड़ते हुए बोला कि मज़े करो मेडम, तेरी चूत और गांड दोनों किसी कुंवारी लड़की की जैसी ही थी, क्या हमें पागल समझा है जो अब हम छोड़ेंगे मज़ा लो। फिर इस बार में ज़ोर ज़ोर से रो ही पड़ी, क्योंकि में उन दोनों के बीच में थी और अब मेरा दर्द बर्दाश्त के बाहर था।
अमर ने अब डॉगी स्टाईल में मुझे बैठने को कहा और पीछे से मेरी गांड में अपना लंड घुसा दिया अहह और नकुल ने अपना लंड मेरे मुहं में डाल दिया अहहऊहह आआआअहह। में अब फिर से एक बार जन्नत में थी में जैसे अब कुछ ही पलों में बिखरने वाली थी और अपनी चरम पर पहुँचने वाली थी इस पोज़िशन में अमर ने बहुत देर तक मुझे चोदा और में भी अपनी कमर को हिला हिलाकर उसका साथ दे रही थी और नकुल मेरे मुहं को चोद रहा था और अब में चरम सीमा पर पहुँच गयी, लेकिन वो दोनों बारी बारी से अभी भी मेरी चूत को मार रहे थे। फिर मैंने कहा कि अब बस करो, में अब बहुत थक चुकी हूँ, तभी इतने में नकुल ने कहा कि हमने आज तक कभी भी इतनी अच्छे से किसी के घर की मशीन को ठीक नहीं किया। आज तो हमने जमकर मेहनत की है मेडम और फिर नकुल ने अपना वीर्य छोड़ दिया और वो भी मेरे मुहं में और मेरा मुहं पकड़कर रखा जिससे में बाहर ना निकल सकूं। में थोड़ी नाराज़ भी हो गई तो अमर ने अपना सारा वीर्य मेरी छाती पर गिरा दिया और कहा कि तुम सिर्फ़ सुंदर ही नहीं एकदम सेक्सी भी हो। फिर वो दोनों अब अपने अपने कपड़े पहनने लगे और मैंने भी अपने कपड़े पहन लिए। तभी नकुल ने मुझसे कहा कि मेडम जी अब तो इस पेपर्स पर अपने साइन कर दो, बाकी प्यार की निशानी तो आपके पास ही है। मुझे नकुल का यह शरारती स्वाभाव बहुत अच्छा लगा और में थोड़ा सा उनकी तरफ मुस्कुराई और फिर मैंने उन पेपर पर साईन कर दिया और वो दोनों चले गये। एक महीने बाद उन दोनों ने फिर से मुझे कॉल किया, लेकिन मैंने साफ साफ मना कर दिया दोस्तों ऐसा नहीं कि मुझे उनकी चुदाई में मज़ा नहीं आया था, लेकिन अब मेरी दुनिया अलग थी, सज़ा जैसी ही क्यों ना थी, लेकिन वो ही मेरी दुनिया थी और वो ही मेरी वास्तविकता है और में उसमे बहुत खुश हूँ कि मुझे बहतरीन सेक्स का आनंद मिला और मैंने पहली बार सेक्स में चरम सीमा पाने का आनंद लिया था। मैंने उसके बाद अपने पति से ही अपनी चुदाई करवाना उचित समझा और अब में उनके साथ ही बहुत खुश हूँ, चाहे वो कैसे भी हो? मुझे उस बात से कोई फर्क नहीं पढ़ता। दोस्तों में उम्मीद करती हूँ कि आप सभी को मेरी यह कहानी जरुर पसंद आई होगी ।।
धन्यवाद …
मेरी फ्री सेक्स ट्यूशन क्लास
हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम केतकी है और में अहमदाबाद की रहने वाली हूँ
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दोस्तों में आज आप सभी के सामने अपनी एक सच्ची कहानी सुनाने जा रही हूँ, लेकिन सबसे पहले में नाईटडिअर डॉट कॉम को बहुत बहुत धन्यवाद देना चाहती हूँ जिससे हम जैसे लोगों को अपनी कहानी शेयर करने का मौका मिलता है। दोस्तों में खुद भी इस साईट को पिछले कुछ सालों से रोजाना पढ़ती आ रही हूँ, अब तक मैंने इसकी बहुत सारी सेक्सी कहानियाँ पढ़ी है और बहुत मज़े किए है। तो चलो अब ज्यादा टाईम खराब ना करते हुए में अपना पूरा परिचय आप सभी से करवा देती हूँ। दोस्तों मेरा नाम केतकी है और में अभी तक कुंवारी हूँ और अहमदाबाद की रहने वाली हूँ। में एक सामान्य सी, लेकिन सेक्स की बहुत भूखी लड़की हूँ और मेरी उम्र 21 साल है। मेरी एक ही सबसे बड़ी कमजोरी है और वो है सेक्स। दोस्तों यह उन दिनों की बात है जब में 12th क्लास में थी और अपने कुछ जूनियर्स को फ्री में गणित की ट्यूशन दिया करती थी क्योंकि में इन कामों के आलावा पढ़ाई में भी बहुत अच्छी हूँ।
दोस्तों कुछ समय पहले मेरे पड़ोस में एक लड़का रहता था, उसका नाम संदीप था। वो दिखने में बहुत ही ज्यादा अच्छा था और में हमेशा से उसे चाहती थी कि उसके जैसा लड़का कभी मुझे चोदे और हम दोनों उस समय एक ही स्कूल में जाते थे इसलिए हमारे बीच में कभी कभी थोड़ी बहुत बातचीत हंसी मजाक भी हुआ करता था। दोस्तों में पिछले कई दिनों से कोई अच्छा मौका ढूंड रही थी कि कभी मुझे उसे अकेले में मिलने का कोई मौका मिल जाए ताकि में उसे अपनी तरफ आकर्षित करके अपनी साईड ले सकूं, क्योंकि दोस्तों में आप सभी को बता दूँ कि में इस काम में बहुत ही ज्यादा माहिर हूँ और फिर एक दिन मुझे वो अच्छा मौका मिल ही गया। दोस्तों मेरे मम्मी, पापा दोनों ही नौकरी करते है तो उसकी वजह से अक्सर सुबह 9-10 बजे तक हमारा पूरा घर खाली हो जाता था और में घर पर पूरा दिन भर अकेली रहती थी।
एक दिन ऐसे ही बालकनी में बैठी हुई थी कि तभी संदीप ने मुझे आवाज़ दी और फिर संदीप ने मुझसे कहा कि आप तो गणित में बहुत अच्छी हो ना और मेरी गणित बहुत कमजोर है क्या आप मुझे सिखाओगे? बस फिर क्या था। मैंने मन ही मन बहुत खुश होकर बिना सोचे समझे मौके पर चौका लगा दिया और अब मैंने उससे कहा कि ठीक है तू आधे घंटे में मेरे पास आ जाना। मेरी तो खुशी का अब कोई ठिकाना ही नहीं था। मैंने फटाफट अपने रूम का सभी इधर उधर बिखरा हुआ सामान ठीक किया और एक मस्त सी नीले कलर की वन पीस पहनी जो में हमेशा रात को सोते टाईम पहनती हूँ और अब में उसका बहुत बेसब्री से इंतजार करने लगी। तभी मुझे दरवाजे पर लगी हुई बेल की आवाज़ आई तो मैंने दरवाज़ा खोला और देखा कि बाहर वो खड़ा हुआ था। वो मुझे उस ड्रेस में देखकर थोड़ा सा हैरान हुआ, लेकिन वो कुछ नहीं बोला, वो बस चकित होकर मुझे देखता रहा। फिर मैंने उससे कहा कि बस ऐसे देखते ही रहोगे या फिर अंदर भी आओगे? मैंने उसे अंदर बुलाया और अब वो सोफे पर बैठ गया, लेकिन उसकी नज़र बार बार मेरे बूब्स और पैरों की तरफ जा रही थी। दोस्तों में आप सभी को बता दूँ कि मेरे बूब्स का साईज़ 34 है अब तो आप समझ ही गये होंगे कि में एक्सपर्ट क्यों हूँ? में भी उसकी नज़रों से अब समझ गई कि उसको भी कुछ कुछ हो रहा है। मैंने उसे पानी दिया और दरवाज़ा बंद कर दिया में उसके पास जाकर बैठ गई और मैंने उससे कहा कि तुम मुझे बताओ कि तुम्हे क्या दिक्कत है? अब वो धीरे धीरे व्याकुल होने लगा था, क्योंकि में उसके पास बैठी हुई थी और में अपने पैर उसके पैर से टच कर रही थी और साथ ही अपने बूब्स को उसके सामने प्रदर्शित करने लगी। मैंने अंदर ब्रा नहीं पहनी हुई थी तो इसलिए मेरे थोड़ा सा हिलने पर भी बूब्स ज़ोर ज़ोर से हिल रहे थे। फिर हमने अपनी पढ़ाई शुरू की और में किसी ना किसी बहाने से उसकी तरफ पूरा झुक रही थी।
फिर आधे घंटे के बाद उसने मुझसे कहा कि मोना बहुत भूख लग रही है, क्या कुछ खाने को मिलेगा? तो में उठकर किचन से चिप्स और बिस्किट्स लेने चली गई। इतनी देर में अचानक मुझे संदीप ने पीछे से आकर एकदम से टाईट पकड़ लिया ऊफफफ्फ़ वाह यार क्या अहसास था वो? में मुड़ी और वो मुझे पागलों की तरह किस करने लगा। मैंने उसे रोका और कहा कि संदीप तुम जानते हो कि क्या कर रहे हो? तो वो बोला कि अच्छा क्यों कमीनी अब तू ज्यादा भोली बन रही है? मुझे पिछले आधे घंटे से तड़पाकर खुद मुझे देखकर बहुत मज़े ले रही थी। उसके मुहं से यह बात सुनकर तो बस में और भी मूड में आ गई और में भी उसे पागलों की तरह किस करने लगी। वाह क्या अहसास था मुझे ऐसा लग रहा था कि हम दोनों प्यासे बस इसी एक चीज़ के लिए बेकरार थे और अब हम बिल्कुल पागल हुए जा रहे थे। उसने मुझे किचन प्लेटफॉर्म पर बैठा दिया और पागलों की तरह मेरे बूब्स दबाने लगा और में उससे कहने लगी अहआहहह उह्ह्हह्ह्ह्ह चूतिये इतनी ज़ोर से क्यों दबा रहा है? अहहह्ह्ह ऊउईईईइ माँ थोड़ा धीरे दबा।
फिर संदीप बोला कि अभी तो शुरुवात है जानेमन और वो मेरे बूब्स को कपड़े के ऊपर से ही दबा रहा था। अब में भी धीरे धीरे पूरी तरफ से मदहोश हुई जा रही थी। उसने मेरे सभी कपड़े एक एक करके उतार दिया और पागलों की तरह मुझे चूमने लगा और में अह्ह्ह्हह् अईईईई संदीप कमीने और ज़ोर से अहहह्ह्ह काटो मेरे बूब्स को, संदीप काटो प्लीज। वो पूरे जोश में आकर जानवर की तरह मेरे दोनों बूब्स को काटने लगा और में भी उसके कान काट रही थी जिसकी वजह से उसे बहुत मज़ा आ रहा था। फिर उसने मुझे प्लेटफॉर्म से नीचे उतारा और हम फिर किस करने लगे, हम एक दूसरे की जीभ को चूस रहे थे। दोस्तों में आप सभी को शब्दों में क्या बताऊँ कि ऐसा करने पर कितना मस्त लगता है? आप भी एक बार ऐसा जरुर करना। अब में उसके कपड़े निकालने लगी और उसकी पेंट को निकालते ही मैंने उसका लंड मुहं में ले लिया और में अब उसे चूसने लगी ह्म्म्म्ममम वाह क्या स्वाद था? वो तो और भी जोश में होने लगा था और उसने मेरे बाल खींचकर मुझे उठाया और बोला कि कुतिया तुझे सारा मज़ा यहीं पर लेना है क्या? बता बेडरूम कहाँ है? वो अब मेरे पीछे खड़ा होकर मेरे बूब्स पर हाथ रखकर उन्हे ज़ोर ज़ोर से दबाने लगा और बोला कि चल और अब हम धीरे धीरे आगे बड़ते गये और बेडरूम में पहुंचते ही उसने बेड को देखते ही मुझे उस पर एक ज़ोर से धक्का दे दिया और फिर बोला कि अब तो तू गई साली, तू मुझे बहुत दिखा रही थी ना, अब में तुझे बताता हूँ कि अपनी तरफ आकर्षित करना क्या होता है? तो वो मेरे ऊपर आ गया और मेरे बूब्स को दबाने लगा। में बिल्कुल पागल हुई जा रही थी, क्योंकि आज तक किसी ने मेरे बूब्स को इस तरह से दबाकर मुझे ऐसा मज़ा नहीं दिया था। में अब उससे कहने लगी हाँ आआआआआआहह संदीप आईईईईईई अहह्ह्हह और ज़ोर से चूसो इन्हें और ज़ोर से। अब वो मेरी चूत पर हाथ घुमाने लगा आहह्ह्ह्हह क्या मज़ा आ रहा था? संदीप प्लीज एक बार इसे मेरी चूत को चाटो ना, प्लीज संदीप।
फिर उसने मेरी बात फट से मान ली अहहाआ हाँ ऐसे ऊओह हाँ और ज़ोर से संदीप ओह्ह्हह ऊईईईईइ माँ वो बस अब मेरी चूत में जैसे पूरी तरह घुस ही गया था। वो करीब 15 मिनट तक लगातार मेरी चूत को चाटता रहा और में भी अब पूरे जोश में आ गई और अब हम 69 पोज़िशन में आ गये और में उसके लंड को मुहं में लेकर मस्ती कर रही और वो मेरी चूत में उंगली करने लगा। में बिल्कुल पागलों की तरह उसके लंड को चूसने लगी ऊउईईईई उफ्फ्फ्फफ्फ्फ़ वाह दोस्तों क्या स्वाद था? मुझे वो स्वाद और भी पागल बना रहा था। उसे भी इतना मज़ा आने लगा कि वो भी मेरी चूत में उंगली करते हुए मुहं से आवाज़े निकालने लगा अहईईईईईईईईईईई कमीनी और ज़ोर से चूस ले अंदर और ले कमीनी आईईईई आहहह हाँ कुतिया और अच्छे से अब तू ही मेरी रंडी है। में करीब बीस मिनट तक लगातार उसका लंड चूस रही थी, लेकिन फिर उसे अचानक से जोश आया और अब वो मुझे सीधा लेटाकर मेरे बूब्स को दबाने लगा।
अब वो फिर से मेरी चूत को अपनी जीभ से चोदने चाटने लगा तो मैंने उससे कहा कि अब बस करो, इसे किसी आम की तरह चाटते ही रहोगे क्या? अब जल्दी से आ जाओ संदीप हम दोनों बहुत प्यासे है, अब तो मुझे चोद डालो। दोस्तों फिर क्या था मेरे इतना कहने पर ही उसने अपना पूरा लंड एक ही जोरदार धक्के के साथ मेरी चूत में घुसा दिया आहहह्फ्फ्फ्फ़ माँ क्या एक ही बार में पूरा घुसा दिया आईईईईईई। वो मुझे अब बहुत ज़ोर ज़ोर से धक्के देने लगा और में कुछ देर बाद उसके लंड के मज़े लेने लगी। हाँ और ज़ोर से चोदो मुझे, साले कमीने तेरे लंड में क्या जान नहीं है? हाँ और ज़ोर से कर चूतिए हाँ और ज़ोर से उह्ह्ह्हह्ह्ह्हह ऊईईईईई। मेरे मुहं से यह बात सुनकर उसको भी ज्यादा जोश आ गया और वो मुझे ज़ोर ज़ोर से धक्के देकर चोदने लगा वैसे मुझे वही लड़के पसंद है जो जोश में आकर ज़ोर ज़ोर से चोदते है आहहह हाँ संदीप और ज़ोर से हाँ संदीप ऊहहह्ह्ह हाँ आहहहह और अंदर और अंदर डालो, चोद डालो मुझे, फाड़ दो आज मेरी चूत को। दोस्तों हम करीब 45 मिनट तक अलग अलग पोज़िशन में सेक्स करते रहे और मुझे उसकी चुदाई में बहुत मज़ा आया और उस दिन के बाद से हम जब भी मौका मिलता हम एक दूसरे के साथ पूरे जोश में सेक्स करते। इसी बीच मैंने अपने कई सीनियर्स के साथ भी बहुत बार सेक्स किया और अब मेरा एक बॉयफ्रेंड भी है, लेकिन थोड़ा लंबी दूरी की वजह से हम सेक्स चेट ही कर पाते है। वैसे उसे मेरे किसी दूसरो के साथ सेक्स करने से कोई भी आपत्ति नहीं है और ना ही मुझे कि अगर वो भी वहां पर किसी के साथ सेक्स करे। वैसे भी तो बाकी सभी अपनी सेक्स की कमी को पूरा करने के लिए करते है ।।
धन्यवाद …
दोस्तों में आज आप सभी के सामने अपनी एक सच्ची कहानी सुनाने जा रही हूँ, लेकिन सबसे पहले में नाईटडिअर डॉट कॉम को बहुत बहुत धन्यवाद देना चाहती हूँ जिससे हम जैसे लोगों को अपनी कहानी शेयर करने का मौका मिलता है। दोस्तों में खुद भी इस साईट को पिछले कुछ सालों से रोजाना पढ़ती आ रही हूँ, अब तक मैंने इसकी बहुत सारी सेक्सी कहानियाँ पढ़ी है और बहुत मज़े किए है। तो चलो अब ज्यादा टाईम खराब ना करते हुए में अपना पूरा परिचय आप सभी से करवा देती हूँ। दोस्तों मेरा नाम केतकी है और में अभी तक कुंवारी हूँ और अहमदाबाद की रहने वाली हूँ। में एक सामान्य सी, लेकिन सेक्स की बहुत भूखी लड़की हूँ और मेरी उम्र 21 साल है। मेरी एक ही सबसे बड़ी कमजोरी है और वो है सेक्स। दोस्तों यह उन दिनों की बात है जब में 12th क्लास में थी और अपने कुछ जूनियर्स को फ्री में गणित की ट्यूशन दिया करती थी क्योंकि में इन कामों के आलावा पढ़ाई में भी बहुत अच्छी हूँ।
दोस्तों कुछ समय पहले मेरे पड़ोस में एक लड़का रहता था, उसका नाम संदीप था। वो दिखने में बहुत ही ज्यादा अच्छा था और में हमेशा से उसे चाहती थी कि उसके जैसा लड़का कभी मुझे चोदे और हम दोनों उस समय एक ही स्कूल में जाते थे इसलिए हमारे बीच में कभी कभी थोड़ी बहुत बातचीत हंसी मजाक भी हुआ करता था। दोस्तों में पिछले कई दिनों से कोई अच्छा मौका ढूंड रही थी कि कभी मुझे उसे अकेले में मिलने का कोई मौका मिल जाए ताकि में उसे अपनी तरफ आकर्षित करके अपनी साईड ले सकूं, क्योंकि दोस्तों में आप सभी को बता दूँ कि में इस काम में बहुत ही ज्यादा माहिर हूँ और फिर एक दिन मुझे वो अच्छा मौका मिल ही गया। दोस्तों मेरे मम्मी, पापा दोनों ही नौकरी करते है तो उसकी वजह से अक्सर सुबह 9-10 बजे तक हमारा पूरा घर खाली हो जाता था और में घर पर पूरा दिन भर अकेली रहती थी।
एक दिन ऐसे ही बालकनी में बैठी हुई थी कि तभी संदीप ने मुझे आवाज़ दी और फिर संदीप ने मुझसे कहा कि आप तो गणित में बहुत अच्छी हो ना और मेरी गणित बहुत कमजोर है क्या आप मुझे सिखाओगे? बस फिर क्या था। मैंने मन ही मन बहुत खुश होकर बिना सोचे समझे मौके पर चौका लगा दिया और अब मैंने उससे कहा कि ठीक है तू आधे घंटे में मेरे पास आ जाना। मेरी तो खुशी का अब कोई ठिकाना ही नहीं था। मैंने फटाफट अपने रूम का सभी इधर उधर बिखरा हुआ सामान ठीक किया और एक मस्त सी नीले कलर की वन पीस पहनी जो में हमेशा रात को सोते टाईम पहनती हूँ और अब में उसका बहुत बेसब्री से इंतजार करने लगी। तभी मुझे दरवाजे पर लगी हुई बेल की आवाज़ आई तो मैंने दरवाज़ा खोला और देखा कि बाहर वो खड़ा हुआ था। वो मुझे उस ड्रेस में देखकर थोड़ा सा हैरान हुआ, लेकिन वो कुछ नहीं बोला, वो बस चकित होकर मुझे देखता रहा। फिर मैंने उससे कहा कि बस ऐसे देखते ही रहोगे या फिर अंदर भी आओगे? मैंने उसे अंदर बुलाया और अब वो सोफे पर बैठ गया, लेकिन उसकी नज़र बार बार मेरे बूब्स और पैरों की तरफ जा रही थी। दोस्तों में आप सभी को बता दूँ कि मेरे बूब्स का साईज़ 34 है अब तो आप समझ ही गये होंगे कि में एक्सपर्ट क्यों हूँ? में भी उसकी नज़रों से अब समझ गई कि उसको भी कुछ कुछ हो रहा है। मैंने उसे पानी दिया और दरवाज़ा बंद कर दिया में उसके पास जाकर बैठ गई और मैंने उससे कहा कि तुम मुझे बताओ कि तुम्हे क्या दिक्कत है? अब वो धीरे धीरे व्याकुल होने लगा था, क्योंकि में उसके पास बैठी हुई थी और में अपने पैर उसके पैर से टच कर रही थी और साथ ही अपने बूब्स को उसके सामने प्रदर्शित करने लगी। मैंने अंदर ब्रा नहीं पहनी हुई थी तो इसलिए मेरे थोड़ा सा हिलने पर भी बूब्स ज़ोर ज़ोर से हिल रहे थे। फिर हमने अपनी पढ़ाई शुरू की और में किसी ना किसी बहाने से उसकी तरफ पूरा झुक रही थी।
फिर आधे घंटे के बाद उसने मुझसे कहा कि मोना बहुत भूख लग रही है, क्या कुछ खाने को मिलेगा? तो में उठकर किचन से चिप्स और बिस्किट्स लेने चली गई। इतनी देर में अचानक मुझे संदीप ने पीछे से आकर एकदम से टाईट पकड़ लिया ऊफफफ्फ़ वाह यार क्या अहसास था वो? में मुड़ी और वो मुझे पागलों की तरह किस करने लगा। मैंने उसे रोका और कहा कि संदीप तुम जानते हो कि क्या कर रहे हो? तो वो बोला कि अच्छा क्यों कमीनी अब तू ज्यादा भोली बन रही है? मुझे पिछले आधे घंटे से तड़पाकर खुद मुझे देखकर बहुत मज़े ले रही थी। उसके मुहं से यह बात सुनकर तो बस में और भी मूड में आ गई और में भी उसे पागलों की तरह किस करने लगी। वाह क्या अहसास था मुझे ऐसा लग रहा था कि हम दोनों प्यासे बस इसी एक चीज़ के लिए बेकरार थे और अब हम बिल्कुल पागल हुए जा रहे थे। उसने मुझे किचन प्लेटफॉर्म पर बैठा दिया और पागलों की तरह मेरे बूब्स दबाने लगा और में उससे कहने लगी अहआहहह उह्ह्हह्ह्ह्ह चूतिये इतनी ज़ोर से क्यों दबा रहा है? अहहह्ह्ह ऊउईईईइ माँ थोड़ा धीरे दबा।
फिर संदीप बोला कि अभी तो शुरुवात है जानेमन और वो मेरे बूब्स को कपड़े के ऊपर से ही दबा रहा था। अब में भी धीरे धीरे पूरी तरफ से मदहोश हुई जा रही थी। उसने मेरे सभी कपड़े एक एक करके उतार दिया और पागलों की तरह मुझे चूमने लगा और में अह्ह्ह्हह् अईईईई संदीप कमीने और ज़ोर से अहहह्ह्ह काटो मेरे बूब्स को, संदीप काटो प्लीज। वो पूरे जोश में आकर जानवर की तरह मेरे दोनों बूब्स को काटने लगा और में भी उसके कान काट रही थी जिसकी वजह से उसे बहुत मज़ा आ रहा था। फिर उसने मुझे प्लेटफॉर्म से नीचे उतारा और हम फिर किस करने लगे, हम एक दूसरे की जीभ को चूस रहे थे। दोस्तों में आप सभी को शब्दों में क्या बताऊँ कि ऐसा करने पर कितना मस्त लगता है? आप भी एक बार ऐसा जरुर करना। अब में उसके कपड़े निकालने लगी और उसकी पेंट को निकालते ही मैंने उसका लंड मुहं में ले लिया और में अब उसे चूसने लगी ह्म्म्म्ममम वाह क्या स्वाद था? वो तो और भी जोश में होने लगा था और उसने मेरे बाल खींचकर मुझे उठाया और बोला कि कुतिया तुझे सारा मज़ा यहीं पर लेना है क्या? बता बेडरूम कहाँ है? वो अब मेरे पीछे खड़ा होकर मेरे बूब्स पर हाथ रखकर उन्हे ज़ोर ज़ोर से दबाने लगा और बोला कि चल और अब हम धीरे धीरे आगे बड़ते गये और बेडरूम में पहुंचते ही उसने बेड को देखते ही मुझे उस पर एक ज़ोर से धक्का दे दिया और फिर बोला कि अब तो तू गई साली, तू मुझे बहुत दिखा रही थी ना, अब में तुझे बताता हूँ कि अपनी तरफ आकर्षित करना क्या होता है? तो वो मेरे ऊपर आ गया और मेरे बूब्स को दबाने लगा। में बिल्कुल पागल हुई जा रही थी, क्योंकि आज तक किसी ने मेरे बूब्स को इस तरह से दबाकर मुझे ऐसा मज़ा नहीं दिया था। में अब उससे कहने लगी हाँ आआआआआआहह संदीप आईईईईईई अहह्ह्हह और ज़ोर से चूसो इन्हें और ज़ोर से। अब वो मेरी चूत पर हाथ घुमाने लगा आहह्ह्ह्हह क्या मज़ा आ रहा था? संदीप प्लीज एक बार इसे मेरी चूत को चाटो ना, प्लीज संदीप।
फिर उसने मेरी बात फट से मान ली अहहाआ हाँ ऐसे ऊओह हाँ और ज़ोर से संदीप ओह्ह्हह ऊईईईईइ माँ वो बस अब मेरी चूत में जैसे पूरी तरह घुस ही गया था। वो करीब 15 मिनट तक लगातार मेरी चूत को चाटता रहा और में भी अब पूरे जोश में आ गई और अब हम 69 पोज़िशन में आ गये और में उसके लंड को मुहं में लेकर मस्ती कर रही और वो मेरी चूत में उंगली करने लगा। में बिल्कुल पागलों की तरह उसके लंड को चूसने लगी ऊउईईईई उफ्फ्फ्फफ्फ्फ़ वाह दोस्तों क्या स्वाद था? मुझे वो स्वाद और भी पागल बना रहा था। उसे भी इतना मज़ा आने लगा कि वो भी मेरी चूत में उंगली करते हुए मुहं से आवाज़े निकालने लगा अहईईईईईईईईईईई कमीनी और ज़ोर से चूस ले अंदर और ले कमीनी आईईईई आहहह हाँ कुतिया और अच्छे से अब तू ही मेरी रंडी है। में करीब बीस मिनट तक लगातार उसका लंड चूस रही थी, लेकिन फिर उसे अचानक से जोश आया और अब वो मुझे सीधा लेटाकर मेरे बूब्स को दबाने लगा।
अब वो फिर से मेरी चूत को अपनी जीभ से चोदने चाटने लगा तो मैंने उससे कहा कि अब बस करो, इसे किसी आम की तरह चाटते ही रहोगे क्या? अब जल्दी से आ जाओ संदीप हम दोनों बहुत प्यासे है, अब तो मुझे चोद डालो। दोस्तों फिर क्या था मेरे इतना कहने पर ही उसने अपना पूरा लंड एक ही जोरदार धक्के के साथ मेरी चूत में घुसा दिया आहहह्फ्फ्फ्फ़ माँ क्या एक ही बार में पूरा घुसा दिया आईईईईईई। वो मुझे अब बहुत ज़ोर ज़ोर से धक्के देने लगा और में कुछ देर बाद उसके लंड के मज़े लेने लगी। हाँ और ज़ोर से चोदो मुझे, साले कमीने तेरे लंड में क्या जान नहीं है? हाँ और ज़ोर से कर चूतिए हाँ और ज़ोर से उह्ह्ह्हह्ह्ह्हह ऊईईईईई। मेरे मुहं से यह बात सुनकर उसको भी ज्यादा जोश आ गया और वो मुझे ज़ोर ज़ोर से धक्के देकर चोदने लगा वैसे मुझे वही लड़के पसंद है जो जोश में आकर ज़ोर ज़ोर से चोदते है आहहह हाँ संदीप और ज़ोर से हाँ संदीप ऊहहह्ह्ह हाँ आहहहह और अंदर और अंदर डालो, चोद डालो मुझे, फाड़ दो आज मेरी चूत को। दोस्तों हम करीब 45 मिनट तक अलग अलग पोज़िशन में सेक्स करते रहे और मुझे उसकी चुदाई में बहुत मज़ा आया और उस दिन के बाद से हम जब भी मौका मिलता हम एक दूसरे के साथ पूरे जोश में सेक्स करते। इसी बीच मैंने अपने कई सीनियर्स के साथ भी बहुत बार सेक्स किया और अब मेरा एक बॉयफ्रेंड भी है, लेकिन थोड़ा लंबी दूरी की वजह से हम सेक्स चेट ही कर पाते है। वैसे उसे मेरे किसी दूसरो के साथ सेक्स करने से कोई भी आपत्ति नहीं है और ना ही मुझे कि अगर वो भी वहां पर किसी के साथ सेक्स करे। वैसे भी तो बाकी सभी अपनी सेक्स की कमी को पूरा करने के लिए करते है ।।
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